Tuesday, April 13, 2010

रतनजोत के बीज खाने से 9 बच्चे बीमार

देवगढ। समीप के छापली गांव के 9 बच्चे सोमवार को छापली विद्यालय के सामने खेतों में रतनजोत के बीज खाने से अचेत हो गए। इनका सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र में उपचार किया जा रहा है। घटना के अनुसार दोपहर 12 बजे बाद गांव के बच्चे-बच्चियां बकरियां चराने गए थे।
राउमावि छापली के समीप रातोडिया के खेतो में लगे रतनजोत के पेडों से बच्चों ने नासमझी में रतनजोत के बीज तोडे और पत्थरों से तोडकर खाने लगे। इनका स्वाद मूंगफली सा लगा जिससे बच्चों ने काफी बीज खा लिए। अधिक बीज खा लेने से चान्दलाई की गंवार के अनोपसिंह (16) पुत्र लाखनसिंह, जसवन्तसिंह (10) पुत्र भंवरसिंह रावत, कल्याणसिंह (15) पुत्र रतनसिंह की हालत अधिक बिगड गई।
सभी बच्चों में जी-घबराना, उल्टी-दस्त की शिकायत होने लगी। इस पर पीडित बच्चे घर पहुंचे जहां परिजनों को घटना की जानकारी दी। इस पर परिजन पीडित बच्चो को देवगढ हास्पिटल ले गए जहां उनका डॉ. प्रहलाद मीणा ने उपचार किया।
बाद में हालत खराब होने पर कुशालसिंह (8) पुत्र मूलसिंह रावत, दिनेश(7) पुत्र बाबूसिंह, इन्द्रा (9) पुत्री बाबूसिंह रावत, अनिलसिंह (13) मोहनसिंह रावत, प्रकाश (14) पुत्र अमरसिंह, दयालसिंह पुत्र पूनमसिंह रावत को भी देवगढ चिकित्सालय में उपचार के लिए भर्ती कराया गया। सभी की हालत सन्तोषजनक है।

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