राजसमन्द। रेलमगरा थानान्तर्गत बनेडिया गांव में करीब चार माह पूर्व एक किशोरी से बलात्कार करने के मामले में अपर जिला एवं सेशन न्यायाधीश (फास्ट ट्रेक) ने एक व्यक्ति को दोषी मानते हुए उसे दस वर्ष की कैद और पांच हजार रुपए का अर्थदण्ड दिया।
प्रकरणानुसार बनेडिया निवासी एक किशोेरी ने रेलमगरा थाने में गत 21 सितम्बर 08 को रिपोर्ट दी कि उस दिन करीब साढे तीन बजे वह खेत पर घास का भारा ले जा रही थी। रास्ते में गांव का लक्ष्मण लाल पुत्र छग्गु गुर्जर सामने से घास का भारा लेकर आ रहा था। उसे देखते ही घास का भारा नीचे पटक कर उसके पीछे दौडा और उसे नीचे गिरा कर उससे बलात्कार किया। इस दौरान उसकी चीख सुनकर खेत पर काम कर रही उसकी काकी, नानी और अन्य लोग आ गए। पुलिस ने मामले का अनुसंधान कर लक्ष्मण गुर्जर के खिलाफ अदालत में चालान पेश किया। अदालत में सुनवाई के दौरान अभियोजन पक्ष की ओर से 14 गवाह पेश हुए। न्यायाधीश ने दोनों पक्ष सुनने के उपरांत लक्ष्मण गुर्जर को बलात्कार का दोषी मानते हुए उसे दस वर्ष का कठोर कारावास एवं पांच हजार रुपए का अर्थदण्ड दिया। अभियोजन की ओर से अपर लोक अभियोजक बापूलाल ओस्तवाल ने पैरवी की।
प्रकरणानुसार बनेडिया निवासी एक किशोेरी ने रेलमगरा थाने में गत 21 सितम्बर 08 को रिपोर्ट दी कि उस दिन करीब साढे तीन बजे वह खेत पर घास का भारा ले जा रही थी। रास्ते में गांव का लक्ष्मण लाल पुत्र छग्गु गुर्जर सामने से घास का भारा लेकर आ रहा था। उसे देखते ही घास का भारा नीचे पटक कर उसके पीछे दौडा और उसे नीचे गिरा कर उससे बलात्कार किया। इस दौरान उसकी चीख सुनकर खेत पर काम कर रही उसकी काकी, नानी और अन्य लोग आ गए। पुलिस ने मामले का अनुसंधान कर लक्ष्मण गुर्जर के खिलाफ अदालत में चालान पेश किया। अदालत में सुनवाई के दौरान अभियोजन पक्ष की ओर से 14 गवाह पेश हुए। न्यायाधीश ने दोनों पक्ष सुनने के उपरांत लक्ष्मण गुर्जर को बलात्कार का दोषी मानते हुए उसे दस वर्ष का कठोर कारावास एवं पांच हजार रुपए का अर्थदण्ड दिया। अभियोजन की ओर से अपर लोक अभियोजक बापूलाल ओस्तवाल ने पैरवी की।
No comments:
Post a Comment