राजसमन्द। देवगढ बाघाना गांव में शनिवार को क्षेत्र की बारह छापली एवं बाघाना गांव के ग्रामीणों की बैठक में गौरीधाम बगीची में वृक्षों की अंधाधुंध कटाई, तोड-फोड एवं धार्मिक स्थल पर आगजनी की घटना की निन्दा की गई।महादेव मंदिर चौक में गौरीधाम मंदिर के गिरनारी बाबा के साçन्नध्य में हुई बैठक में बडी संख्या में ग्रामीणों ने हिस्सा लिया। बैठक के बाद करीब 150 ग्रामीणों ने गौरीधाम पहंुच कर बगीची की दुर्दशा देखी। प्रत्यक्षदर्शी रामगिरी महाराज ने बताया कि भैरागुडा के करीब 100-150 पुरूष- महिलाओं ने दो घंटे तक गौरीधाम में उत्पात मचाया।इस दौरान कुटिया में बने भोजन में कंकड-पत्थर डाले गए। वहां खडी घास को जलाने का प्रयास किया। धूणी स्थल को तोड फोड कर बिस्तर, खाट जला दिया। तेल, शक्कर के डिब्बे एवं 23 हजार रूपए उठा ले गए। बगीची की पाइप लाइन उखाड दी। महाराज को धमकी दी गई। बताया गया कि नरेगा योजना के तहत निर्माणाधीन एनिकट की नींव भी ग्रामीणों ने मिट्टी डालकर पाट दी एवं मेट नारायणलाल सालवी को डरा-धमका कर भगा दिया। घटना के बाद बाघाना के ग्रामीणों ने तीन-चार दिन तक श्रमदान कर एवं जेसीबी मशीन लगाकर बगीची के पास ही लम्बा-चौडा मैदान तैयार कर बडे स्तर पर पेड-पौधे लगाने का निर्णय किया है। बैठक में पूर्व जिला परिषद सदस्य गोविन्दसिंह, कैप्टन रामसिंह, मोतीसिंह, पूर्व उप प्रधान नाहरसिंह, बाघाना सरपंच नारायणलाल भाट, रामलाल बोहरा, कजोडीमल जोशी, पूर्व सरपंच श्वेतसिंह, मूलसिंह, गोपीलाल जोशी सहित बडी संख्या में ग्रामीण मौजूद थे। इधर, दिवेर थाना पुलिस ने शनिवार को इस मामले में गिरफ्तार 11 आरोपियों को राजसमंद न्यायालय में पेश किया गया, जहां से जमानत याचिका अस्वीकार करते हुए उन्हें न्यायिक अभिरक्षा में भेज दिया गया।
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