Monday, December 15, 2008

मेले सांस्कृतिक धरोहर : बनवारी लाल शर्मा

राजसमन्द जिला एवं सत्र न्यायाधीश बनवारी लाल शर्मा ने कहा कि मेले उद्यमियें द्वारा निर्मित वस्तुओ को प्रदर्शित करने एवं उनके विपणन के माध्यम तो होते ही है वही सांस्कृतिक धरोहर को भी पुख्ता करते है।शर्मा ने यह विचार सोमवार को कांकरोली के विट्ठल विलास बाग में जिला प्रशासन, उद्यम प्रोत्साहन संस्थान तथा जिला उद्योग केन्द्र के संयुक्त तत्वावधान में आयोजित दस दिवसीय राजसमन्द उद्योग एवं हस्त शिल्प मेले के उद्घाटन समारोह को मुख्य अतिथि पद से सम्बोधित करते हुए व्यक्त किए। उन्होने कहा कि ऐसे मेले उद्यमियें एवं क्रेताआंð के बीच सीधे सम्बन्ध स्थापित करते हैं।कार्यक्रम के विशिष्ठ अतिथि गैंगसा एवं मार्बल टाईल्स एसोसिएशन के सचिव राकेश जैन ने इन अवसरें का अधिकाधिक लाभ अर्जित करने का आह्वान किया।इस अवसर पर अध्यक्षीय उद्बोधन में जिला कलक्टर नवीन जैन ने कहा कि मेले के सफल आयोजन मे टीम भावना से कार्य करने से अधिक सफलता मिलती है। जिला उद्योग केन्द्र ने इस बार 160 विभिन्न उत्पादें की स्टाले लगाई है। उन्होने कहा कि मेले में रोचकता एवं मनोरंजन की दृष्टि से 21 दिसम्बर को श्रेष्ठ सांस्कृतिक कार्यक्रम प्रस्तुत करने की तैयारी की जा रही है।प्रारंभ में जिला उद्योग केन्द्र की महाप्रबन्धक अरूणा शर्मा ने राजसमन्द में आयोजित होने वाले मेले के आयोजनें के इतिहास एवं इनमें साल दर साल होती स्टालें की वृद्धि को यहां के शहरवासियें की पसन्द एवं भावनाआंð की संगम बताया।

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