Tuesday, February 23, 2010

दूसरे दिन भी कुएं से नहीं निकला रोजडे का शव

गिलूण्ड। मालीखेडा गांव के एक कुएं में गिरे रोजडे की वन कर्मियों की लापरवाही के कारण हुई मौत के बाद मंगलवार को दूसरे दिन भी मृत रोजडे के शव को कुएं से बाहर नहीं निकाला जा सका।
सोमवार को वन कर्मियों का दल घटना स्थल पर पहुंचा, लेकिन शव को निकालने के लिए किसी प्रकार के भी सार्थक प्रयास नहीं किए जा सके। 22 फरवरी से समाचार प्रकाशित होने के बाद मौके पर वन कर्मियों के पहुंचने से पूर्व ही रोजडे की मौत हो गई थी।
ग्रामीणों ने मृत रोजडे के शव को कुएं से बाहर निकालने के लिए वनकर्मियों से गुहार भी की, लेकिन मुंडेर पर बैठी मधुमक्खियों के खौफ से वनकर्मियों ने शव को बाहर निकालने से इनकार कर दिया।
दूसरी ओर कुएं में से मृत रोजडे के शव को दूसरे दिन भी नहीं निकाले जाने से कुएं के आस-पास के क्षेत्र में दुर्गध फैल गई है, जिससे ग्रामीण परेशान हो रहे हैं। ग्रामीणों का आरोप है कि वनकर्मी प्रयास करते तो कुएं में गिरे रोजडे को समय रहते जिंदा निकाला जा सकता था।

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