राजसमन्द। राजसमन्द झील में पानी के राजमार्ग स्थित अवरूध्द नालाें को खोलने एवं पानी के लिए बहाव मार्ग बनाने का अभियान रविवार को तीसरे दिन भी जारी रहा तथा संगम मार्बल के पास छुपा नाला खोला।
जिला कलक्टर ओंकार सिंह के निर्देशन में चल रहे इस अभियान के अन्तर्गत रविवार को राष्ट्रीय राजमार्ग आठ पर डीआर मार्बल एवं संगम मार्बल के मध्य बने नाले को मार्बल विक्रताआें ने बुरी तरह बन्द कर दबा दिया था मात्र पुलिया की दीवार ही यह दर्शाती थी कि यहां पुलिया हे, जिसे तहसीलदार अमृतलाल डामोर ने दो जेसीबी से नाले को खुलवाया तथाइसके पानी के प्राकृतिक बहाव को कायम करने के लिए संगम मार्बल के समीप लम्बी खुदाई कर पानी का बहाव दिया। जिस पर पूरा भराव डालकर व्यवसायियाें ने इसका अस्तित्व ही नहीं रखा था। यहां व्यवसायियाें ने पहाड से जल की निकासी क्षेत्र में दीवारे भी बना दी थी, जिसे भी मौके से हटवाकर पानी का बहाव झील की ओर बनाया। उल्लेखनीय है कि यहां वर्षा जल की निकासी नहीं होने से वर्षा होने पर दो फीट तक पानी सडक पर भर जाता था। जिला प्रशासन की ओर से चल रहे इस अभियान के अन्तर्गत इस प्रकार के 41 नाले चिन्हित है जिसे पानी की निकासी के लिए खोला जाएगा। अतिरिक्त जिला कलक्टर टीसी बोहरा ने बताया कि राष्ट्रीय राजमार्ग आठ के सहायक अभियन्ता की ओर से व्यवसायियों ने बन्द नालाें को स्वयं के खर्चे पर खुलवाने की चेतावनी दी हुई है तथा जिला प्रशासन ने भी तीन दिन का उन्हें समय दिया है जिसमें वर्षा जल के नालाें के माध्यम से प्राकृतिक बहाव को पुन: बनाना तथा राष्ट्रीय राजमाग्र के मध्य से 75 फीट की दूरी पर अपने मार्बल पत्थर एवं अन्य सामग्री को रखना शामिल है। यदि निर्धारित समय सीमा में ऐसा नहीं किया जाता है तो प्रशासन आगे की कार्रवाई करेगा। जिसकी जिम्मेदारी व्यवसायी की होगी। इसी प्रकार रविवार को राजसमन्द झील क्षेत्र सिंचाई विभाग की पाल की ओर झील में से घोडा घास एवं गन्दगी निकाल कर सफाई का कार्य हुआ। बोहरा ने बताया कि अवरूध्द पुलिया का क्रमवार आगे बढते हुए साफ करने का यह अभियान चलेगा। राष्ट्रीय राजमार्ग पर अवरूध्द नालाें को खोलने के दौरान सहायक अभियंता एनएच आठ मोहम्मद शकील पटवारी, श्यामसुन्दन शर्मा एवं पुलिस जाब्ता मौजूद था।
जिला कलक्टर ओंकार सिंह के निर्देशन में चल रहे इस अभियान के अन्तर्गत रविवार को राष्ट्रीय राजमार्ग आठ पर डीआर मार्बल एवं संगम मार्बल के मध्य बने नाले को मार्बल विक्रताआें ने बुरी तरह बन्द कर दबा दिया था मात्र पुलिया की दीवार ही यह दर्शाती थी कि यहां पुलिया हे, जिसे तहसीलदार अमृतलाल डामोर ने दो जेसीबी से नाले को खुलवाया तथाइसके पानी के प्राकृतिक बहाव को कायम करने के लिए संगम मार्बल के समीप लम्बी खुदाई कर पानी का बहाव दिया। जिस पर पूरा भराव डालकर व्यवसायियाें ने इसका अस्तित्व ही नहीं रखा था। यहां व्यवसायियाें ने पहाड से जल की निकासी क्षेत्र में दीवारे भी बना दी थी, जिसे भी मौके से हटवाकर पानी का बहाव झील की ओर बनाया। उल्लेखनीय है कि यहां वर्षा जल की निकासी नहीं होने से वर्षा होने पर दो फीट तक पानी सडक पर भर जाता था। जिला प्रशासन की ओर से चल रहे इस अभियान के अन्तर्गत इस प्रकार के 41 नाले चिन्हित है जिसे पानी की निकासी के लिए खोला जाएगा। अतिरिक्त जिला कलक्टर टीसी बोहरा ने बताया कि राष्ट्रीय राजमार्ग आठ के सहायक अभियन्ता की ओर से व्यवसायियों ने बन्द नालाें को स्वयं के खर्चे पर खुलवाने की चेतावनी दी हुई है तथा जिला प्रशासन ने भी तीन दिन का उन्हें समय दिया है जिसमें वर्षा जल के नालाें के माध्यम से प्राकृतिक बहाव को पुन: बनाना तथा राष्ट्रीय राजमाग्र के मध्य से 75 फीट की दूरी पर अपने मार्बल पत्थर एवं अन्य सामग्री को रखना शामिल है। यदि निर्धारित समय सीमा में ऐसा नहीं किया जाता है तो प्रशासन आगे की कार्रवाई करेगा। जिसकी जिम्मेदारी व्यवसायी की होगी। इसी प्रकार रविवार को राजसमन्द झील क्षेत्र सिंचाई विभाग की पाल की ओर झील में से घोडा घास एवं गन्दगी निकाल कर सफाई का कार्य हुआ। बोहरा ने बताया कि अवरूध्द पुलिया का क्रमवार आगे बढते हुए साफ करने का यह अभियान चलेगा। राष्ट्रीय राजमार्ग पर अवरूध्द नालाें को खोलने के दौरान सहायक अभियंता एनएच आठ मोहम्मद शकील पटवारी, श्यामसुन्दन शर्मा एवं पुलिस जाब्ता मौजूद था।
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