राजसमंद। राजनगर थाना पुलिस ने अंतरराज्यीय बाइक चोर गिरोह का पर्दाफाश करते हुए 22 मोटरसाइकिलें और दो भार वाहक टैम्पो बरामद किए हैं। गिरोह के सदस्य राजसमंद जिले के रहने वाले हैं और गुजरात के सूरत जिले से मोटरसाइकि लें चुरा कर राजसमंद लाने के बाद अन्य जिलों में बेच देते थे। यह गिरोह पिछले डेढ वर्षो से इस कार्य में लिप्त था। फिलहाल पुलिस ने दो अभियुक्तों को गिरफ्तार कर लिया है।
इधर, सूचना के बाद सूरत पुलिस भी राजनगर पहुंच गई है। राजनगर वृत्त निरीक्षक निरंजनप्रसाद आल्हा ने बताया कि दोनों गिरफ्तार अभियुक्त मोटरसाइकिलें बेचने की फिराक में थे। मुख्य अभियुक्त रमेश उर्फ रामेश्वर पुत्र छोगालाल जाट निवासी माली खेडा, गिलूण्ड के अलावा चित्तौड जिले के राशमी थाना क्षेत्र स्थित पहुनी निवासी मदन पुत्र बंशीदास वैष्णव को गिरफ्तार कर एक अन्य अभियुक्त राजसमंद जिले के खंडेल निवासी सुरेश गर्ग के बाडे में छिपा कर रखी गई मोटरसाइकिलें व भार वाहक टैम्पो बरामद कर लिए हैं।
माल की बंदरबांट पर खटपटगिरफ्तार दोनों अभियुक्त अनपढ होने के कारण सूरत में मजदूरी करते थे। वहां एक बार बाइक पार करने में सफलता मिलने पर इन्होंने अन्य बाइक चुराने का क्रम जारी रखा। इसके बाद दोनों ने खण्डेल निवासी सुरेश गर्ग से सम्पर्क किया और उसकी शह पर अपने काम को अंजाम देना जारी रखा। बडी तादाद में बाइक जमा हो जाने पर इन्होंने पांच बाइक बेचीं। इससे मिली राशि के बंटवारे को लेकर इनमें विवाद पैदा हो गया और विवाद की सूचना मुखबिर के माध्यम से राजनगर पुलिस तक पहुंच गई और दोनों अभियुक्त घर पर धर लिए गए।
चला कर लाते थेपूछताछ में अभियुक्तों ने बताया कि ये सूरत क्षेत्र से चोरी के बाद बाइक चला कर लाते थे। इसके लिए इन्होंने 'मास्टर की' भी बनवा ली थी। पुलिस ने रमेश के घर से आठ व सुरेश के घर के पास बने बाडे से 13 बाइक व दो टैम्पो बरामद किए। मदन ने ये बाइक व टैम्पो सुरेश को भेजे थे। सुरेश ने बाइक सुनसान क्षेत्र में बने अपने बाडे में छिपा कर रखी थीं।
फर्जी आरसी बनाते थे अभियुक्तों ने बताया कि उन्होंने चोरी की पांच बाइक बेच दी हैं। बेचने से पूर्व वो बहुत सावधानी बरतते थे। जान-पहचान और पूरी पडताल के बाद ही मोटरसाइकिल उनके हवाले की जाती थी। उन्होंने मोटरसाइकिलों की आरसी (पंजीकरण प्रमाण पत्र) भी बनवा ली थी। इस कार्य में उनका सहयोग करने वाला अभियुक्त अब कपासन जेल में है।
शिक्षक है सुरेशगिरोह का सदस्य सुरेश गर्ग कुंवारिया क्षेत्र के गोगाथला भील बस्ती स्थित सरकारी विद्यालय में शिक्षक के रूप में कार्यरत है। फिलहाल वह पुलिस की पकड से दूर है। पुलिस ने गुरूवार को दोनों अभियुक्तों को गिरफ्तार कर सक्षम न्यायालय में भेजा, जहां से उन्हें एक दिन के पुलिस रिमांड पर भेजने के आदेश जारी किए गए। अब इन्हें शनिवार को पुन: न्यायालय में पेश किया जाएगा।
ये थे पुलिस टीम मेंपुलिस अधीक्षक डॉ. नितिनदीप ब्लग्गन के निर्देशन और उप अधीक्षक सी.पी. शर्मा के नेतृत्व में गठित टीम में वृत्त निरीक्षक निरंजनप्रसाद आल्हा, एएसआई गणपतसिंह व रोशनलाल, हैड कांस्टेबल वीरमसिंह, कांस्टेबल गिरधारीसिंह, शिवसिंह व खेमराज आदि शामिल थे।
इधर, सूचना के बाद सूरत पुलिस भी राजनगर पहुंच गई है। राजनगर वृत्त निरीक्षक निरंजनप्रसाद आल्हा ने बताया कि दोनों गिरफ्तार अभियुक्त मोटरसाइकिलें बेचने की फिराक में थे। मुख्य अभियुक्त रमेश उर्फ रामेश्वर पुत्र छोगालाल जाट निवासी माली खेडा, गिलूण्ड के अलावा चित्तौड जिले के राशमी थाना क्षेत्र स्थित पहुनी निवासी मदन पुत्र बंशीदास वैष्णव को गिरफ्तार कर एक अन्य अभियुक्त राजसमंद जिले के खंडेल निवासी सुरेश गर्ग के बाडे में छिपा कर रखी गई मोटरसाइकिलें व भार वाहक टैम्पो बरामद कर लिए हैं।
माल की बंदरबांट पर खटपटगिरफ्तार दोनों अभियुक्त अनपढ होने के कारण सूरत में मजदूरी करते थे। वहां एक बार बाइक पार करने में सफलता मिलने पर इन्होंने अन्य बाइक चुराने का क्रम जारी रखा। इसके बाद दोनों ने खण्डेल निवासी सुरेश गर्ग से सम्पर्क किया और उसकी शह पर अपने काम को अंजाम देना जारी रखा। बडी तादाद में बाइक जमा हो जाने पर इन्होंने पांच बाइक बेचीं। इससे मिली राशि के बंटवारे को लेकर इनमें विवाद पैदा हो गया और विवाद की सूचना मुखबिर के माध्यम से राजनगर पुलिस तक पहुंच गई और दोनों अभियुक्त घर पर धर लिए गए।
चला कर लाते थेपूछताछ में अभियुक्तों ने बताया कि ये सूरत क्षेत्र से चोरी के बाद बाइक चला कर लाते थे। इसके लिए इन्होंने 'मास्टर की' भी बनवा ली थी। पुलिस ने रमेश के घर से आठ व सुरेश के घर के पास बने बाडे से 13 बाइक व दो टैम्पो बरामद किए। मदन ने ये बाइक व टैम्पो सुरेश को भेजे थे। सुरेश ने बाइक सुनसान क्षेत्र में बने अपने बाडे में छिपा कर रखी थीं।
फर्जी आरसी बनाते थे अभियुक्तों ने बताया कि उन्होंने चोरी की पांच बाइक बेच दी हैं। बेचने से पूर्व वो बहुत सावधानी बरतते थे। जान-पहचान और पूरी पडताल के बाद ही मोटरसाइकिल उनके हवाले की जाती थी। उन्होंने मोटरसाइकिलों की आरसी (पंजीकरण प्रमाण पत्र) भी बनवा ली थी। इस कार्य में उनका सहयोग करने वाला अभियुक्त अब कपासन जेल में है।
शिक्षक है सुरेशगिरोह का सदस्य सुरेश गर्ग कुंवारिया क्षेत्र के गोगाथला भील बस्ती स्थित सरकारी विद्यालय में शिक्षक के रूप में कार्यरत है। फिलहाल वह पुलिस की पकड से दूर है। पुलिस ने गुरूवार को दोनों अभियुक्तों को गिरफ्तार कर सक्षम न्यायालय में भेजा, जहां से उन्हें एक दिन के पुलिस रिमांड पर भेजने के आदेश जारी किए गए। अब इन्हें शनिवार को पुन: न्यायालय में पेश किया जाएगा।
ये थे पुलिस टीम मेंपुलिस अधीक्षक डॉ. नितिनदीप ब्लग्गन के निर्देशन और उप अधीक्षक सी.पी. शर्मा के नेतृत्व में गठित टीम में वृत्त निरीक्षक निरंजनप्रसाद आल्हा, एएसआई गणपतसिंह व रोशनलाल, हैड कांस्टेबल वीरमसिंह, कांस्टेबल गिरधारीसिंह, शिवसिंह व खेमराज आदि शामिल थे।
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